हमारे खेल बड़े ही निराले हैं
हमने आस्तीनों में साँप पाले हैं
जो पहुचें हैं उचाइयों पर जैसे-तैसे
वे सब बेसाखियों से चलने वाले हैं
सुना दो किस्से दो-चार मोहब्बत के
मेरे हालात फिर बिगडऩे वाले हैं
मेरी बातों का तुम जिक्र भी मत करना
यहां लोग मेरे नाम से जलने वाले हैं
नहीं कर सकता कोई मुकाबला मेरा
आ जाओ जितने भी मोहबत करने वाले हैं
हमने आस्तीनों में साँप पाले हैं
जो पहुचें हैं उचाइयों पर जैसे-तैसे
वे सब बेसाखियों से चलने वाले हैं
सुना दो किस्से दो-चार मोहब्बत के
मेरे हालात फिर बिगडऩे वाले हैं
मेरी बातों का तुम जिक्र भी मत करना
यहां लोग मेरे नाम से जलने वाले हैं
नहीं कर सकता कोई मुकाबला मेरा
आ जाओ जितने भी मोहबत करने वाले हैं
No comments:
Post a Comment